पुल

उत्तराखंड में आपदाएं आती रहती हैं और ये आपदाएं करोड़ों के नुकसान के साथ ही कभी ना भरने वाले जख्म भी दे जाती है। आपदा में द्वितीय केदार मदमहेश्वर के आधार शिविर बनातोली मे मौरम्बा नदी पर बना पुल बह गया था। तब से लेकर अब तक दो साल बीतने के बाद भी ये पुल नहीं बन पाया है। जिस कारण तीर्थ यात्री व ग्रामीण बिजली के तारों के सहारे आवाजाही करने के लिए मजबूर हैं।

आपदा में बहा पुल दो साल बाद भी नहीं बना

मदमहेश्वर यात्रा के आधार शिविर बनातोली में मौरम्बा नदी पर बना पुल के 14 अगस्त 2023 मे आपदा की भेंट चढ़ गया था। लेकिन दो साल बाद भी ये पुल बन नहीं पाया है। बनातोली मे लोक निर्माण विभाग द्वारा विगत वर्ष ट्रॉली का कार्य शुरू तो किया गया था मगर आज तक ट्रॉली का निर्माण कार्य पूरा नहीं हो पाया है।

मौरम्बा पुल

जान जोखिम में डालकर सफर कर रहे यात्री

जल्द ही मानसून सीजन शुरू होने वाला है ऐसे में बरसात में अगर मौरम्बा नदी का जलस्तर एक बार फिर से बढ़ा तो मदमहेश्वर धाम आवाजाही करने वाले तीर्थ यात्रियों और ग्रामीणो की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। इस बार मौसम वैज्ञानिकों द्वारा ज्यादा बारिश होने का पूर्वानुमान जारी किया गया है। ऐसे में मानसून में अगर ये बिजली के तारों पर अटका लकड़ी का अस्थाई पुल भी नदी में समा जाता है तो मदमहेश्वर घाटी का तीर्थाटन, पर्यटन व्यवसाय खासा प्रभावित हो सकता है।