हरिद्वार: 20 अगस्त को लंबी बीमारी के बाद पायलट बाबा उर्फ सोमनाथ गिरी का निधन हो गया, जिसके बाद उनके आश्रम और अकूत संपत्ति को लेकर विवाद खड़ा हो गया। इस विवाद के चलते जूना अखाड़े के हस्तक्षेप के बाद पायलट बाबा की महिला शिष्यों महामंडलेश्वर श्रद्धा और महामंडलेश्वर चेतना को उनका उत्तराधिकारी घोषित किया गया।
इस बीच, पायलट बाबा के शिष्य ब्रह्मानंद गिरी ने आश्रम के सातों पर पायलट बाबा के उपचार में लापरवाही और आश्रम की संपत्ति को खुर्दबोर्ड करने के आरोप लगाए। इन आरोपों के बाद ब्रह्मानंद गिरी ने पुलिस को एक पत्र दिया था, जिसके आधार पर एसएसपी हरिद्वार ने सीओ सिटी जूही मनराल के नेतृत्व में एक 6 सदस्यीय एसआईटी गठित की।
इस मामले में पायलट बाबा आश्रम की तरफ से प्रबंधक स्वामी ज्ञानमित्र ने SIT जांच का स्वागत करते हुए कहा कि यह जांच दूध का दूध और पानी का पानी कर देगी। उनका कहना था, “एसआईटी जांच से स्थिति स्पष्ट हो जाएगी और जिन पर आरोप लग रहे हैं, उनके खिलाफ सच्चाई सामने आएगी।”आश्रम के विवादों को लेकर स्थिति अभी तनावपूर्ण बनी हुई है, और आने वाले समय में इस मामले में कई महत्वपूर्ण घटनाक्रम हो सकते हैं।