डॉ. रावत ने बताया कि प्रदेश में सहकारी बैंकों का प्रदर्शन लगातार सुधर रहा है, अधिकतर सहकारी बैंक लाभ की स्थिति में है और बैंकों का एनपीए भी काफी कम हुआ है। उन्होंने बताया कि जिला सहकारी एवं राज्य सरकारी बैंकों में वित्तीय लेन-देन पहले की तुलना में तेजी से बढ़ रहा है, निजी व राष्ट्रीयकृत बैंकों की भांति सहकारी बैंकों में भी बैंकिंग सुविधाएं बढ़ाई गई हैं, जगह-जगह नये एटीएम खोले गये हैं, चारधाम यात्रा मार्ग, पर्यटक स्थलों व दुर्गम क्षेत्रों में मोबाइल एटीएम वैन के माध्यम से सेवाएं दी जा रही है। इसके अलावा बैंकों द्वारा उपभोक्ताओं को नेट बैंकिंग की भी सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। साथ ही अन्य बैंकिंग सुविधाओं पर भी बैंक फोकस कर रहे हैं। जिससे सहकारी बैंकों पर उपभोक्ता का भरोसा बढ़ रहा है। सहकारी बैंकों में उपभोक्ताओं को आसान दरों पर ऋण भी उपलब्ध कराया जा रहा है, इसके अलावा विभिन्न सहकारी योजनाओं का लाभ भी आम लोगों को बैंकों के माध्यम से दिया जा रहा है।