नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस ने फर्जी सरकारी भर्तियों के जरिए युवाओं को ठगने वाले एक बड़े रैकेट का पर्दाफाश किया है। पुलिस ने भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) की फर्जी वेबसाइट बनाकर छात्रों से ठगी करने के आरोप में दो लोगों को गिरफ्तार किया है। गिरफ्तार आरोपियों की पहचान जयपुर निवासी कुलदीप (30) और पीयूष (25) के रूप में हुई है।
पुलिस के अनुसार, आरोपियों ने संस्कृति मंत्रालय के अंतर्गत आने वाले एएसआई के नाम पर एक फर्जी भर्ती पोर्टल तैयार किया था। इस पोर्टल पर क्यूरेटर के सात और जूनियर असिस्टेंट के 84 काल्पनिक पदों के लिए विज्ञापन जारी किया गया। यह विज्ञापन सोशल मीडिया और अन्य माध्यमों से व्यापक रूप से प्रसारित किया गया, जिससे सैकड़ों उम्मीदवारों ने आवेदन कर दिया।
डीसीपी विनीत कुमार ने बताया कि फर्जी वेबसाइट को एएसआई और संस्कृति मंत्रालय की आधिकारिक वेबसाइट की तरह हूबहू डिजाइन किया गया था। इसमें लोगो, लेआउट और रंग संयोजन तक असली वेबसाइट जैसा रखा गया, जिससे उम्मीदवारों को धोखाधड़ी का संदेह नहीं हुआ। आरोपियों ने आवेदकों की पृष्ठभूमि और आर्थिक स्थिति का आकलन कर करीब 150 उम्मीदवारों को लिखित परीक्षा के लिए चुना।
विश्वसनीयता बढ़ाने के लिए जयपुर में एक प्रतिष्ठित परीक्षा केंद्र बुक किया गया और सरकारी परीक्षाओं की तर्ज पर पेशेवर ढंग से परीक्षा आयोजित की गई। योजना के तहत परीक्षा में सफल घोषित किए गए उम्मीदवारों को इंटरव्यू के लिए बुलाकर नियुक्ति पत्र के बदले रिश्वत मांगी जानी थी। हालांकि, दिल्ली पुलिस की IFSO इकाई को खुफिया जानकारी मिलने के बाद समय रहते कार्रवाई की गई और इंटरव्यू शुरू होने से पहले ही दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया।
तलाशी के दौरान पुलिस ने दो मोबाइल फोन, एक लैपटॉप, एक डेस्कटॉप कंप्यूटर, एक आईपैड, एक टैबलेट और बैंक पासबुक बरामद की है। पुलिस अन्य सहयोगियों की तलाश और यह पता लगाने में जुटी है कि क्या इसी तरह के फर्जी भर्ती अभियान देश के अन्य हिस्सों में भी चलाए गए थे।
