Uttarakhand : उत्तराखण्ड मुक्त विश्वविद्यालय की ओर से‘‘मुक्त एवं दूरस्थ शिक्षा में मीडिया की भूमिका’’ विषय पर बुधवार को एक दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया। यूसीएफ सदन के सभागार में आयोजित संगोष्ठी में मुख्य अतिथि पूर्व मुख्यमंत्री एवं पूर्व राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने कहा कि शिक्षा के प्रति लोगों में अभिरूचि जागृत हो चुकी है।
नवाचार और तकनीकी की मदद से शिक्षा क्षेत्र में नए आयाम शामिल हुए हैं। इससे मीडिया माध्यमों के जरिए मुक्त विश्वविद्यालय प्रभावी सामग्री विद्यार्थियों के साथ समाज के हर वर्ग तक पहुंचा सकता है।
कार्यक्रम के मुक्त वक्ता आरएसएस के अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख सुनील आम्बेकर ने कहा कि नई शिक्षा नीति के तहत पूरा प्रयास किया गया है कि हर शिक्षार्थी को शिक्षा का पूरा लाभ मिले।
Uttarakhand : विश्वविद्यालय की पहुंच दूरस्थ से दूरस्थ
साथ ही मीडिया के सभी टूल्स का प्रयोग कर अध्ययन सामग्री को विद्यार्थियों तक पहुंचाने की बात कही। साथ ही सभी भाषाओं में अध्ययन सामग्री की उपलब्धता पर जोर दिया। उन्होने कहा कि दूरस्थ शिक्षा में नये प्रयोगों पर भी अवसर दिया जाना चाहिए।
उत्तराखंड मुक्त विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. ओपीएस नेगी ने कहा कि विश्वविद्यालय की पहुंच दूरस्थ से दूरस्थ के शिक्षार्थी तक हो रही है। हम सभी क्षेत्रीय भाषाओं में भी डिप्लोमा पाठ्यक्रम चला रहे हैं। जिससे कि सरलता से हर व्यक्ति तक पहुंच हो सके। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय ज्ञान गंगा नाम से चैनल बनाने की और अग्रसर है, भविष्य में इसके सकारात्मक परिणाम देखने को मिलेंगे।
कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि भारतीय प्रेस परिषद नई दिल्ली के सदस्य एवं पूर्व निदेशक बी0एच0यू0 प्रो0 बी0आर0 गुप्त ने मीडिया की बारीकियों से अवगत कराया कहा कि मीडिया का रोल हर क्षेत्र में अहम रहा है।
मालवीय पत्रकारिता संस्थान के प्रो. ओपी सिंह ने कहा कि दूरस्थ शिक्षा में मीडिया के जरिए सामग्री पहुंचाने के लिए मीडिया टूल्स के साथ ही तकनीक भी जरूरी है। दून विश्वविद्यालय के प्रो. राजेश कुमार ने मूक कोर्स तैयार करने की बात कही।
Uttrakhand : मूक कोर्स तैयार करने की बात
साथ ही मुक्त विश्वविद्यालय में संचालित वैल्यू एडेड कोर्सों का लाभ अन्य संस्थानों के विद्यार्थियों तक पहुंचाने के लिए समन्वय स्थापित करने को कहा। विश्वविद्यालय के कुलसचिव प्रो0 पी0डी0 पंत ने आगन्तुक सभी अतिथियों का आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम का संचालन संगोष्ठी के संयोजक डॉ0 राकेश रयाल ने किया।
संगोष्ठी में संघ के प्रांत प्रचारक डॉ. शैलेन्द्र, राज्य मंत्री रमेश गड़िया, कुलसचिव प्रो. पीडी पंत, परीक्षा नियंत्रक प्रो. सोमेश कुमार, प्रो. एके नवीन, डॉ. दिनेश कुमार, डॉ. डिकर सिंह फर्स्वाण, बृजेश बनकोटी, डॉ. सुभाष रमोला, डॉ. भावना डोभाल, नरेन्द्र जगुड़ी, अनिल कंडारी, गोविंद रावत, राजेन्द्र क्वीरा आदि मौजूद रहे।