UP Election : भारतीय जनता पार्टी की प्रयागराज लोकसभा सीट से सांसद रीता बहुगुणा जोशी के बेटे मयंक जोशी ने लखनऊ की सियासत तेज कर दी है। उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के चौथे चरण का मतदान शुरू होने से चंद घंटे पहले ही उन्होंने समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव से मुलाकात की। करीब एक घंटे चली बातचीत को शिष्टाचार मुलाकात बताई हैं। हालांकि जानकार बताते हैं कि इसका सीधा असर ब्राह्मण वोट बैंक पर पड़ सकता है।
UP Election : लखनऊ कैंट हॉट सीट है
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक राजधानी लखनऊ में लखनऊ कैंट हॉट सीट है। प्रयागराज से बीजेपी सांसद रीता बहुगुणा चाहती थीं कि उनके बेटे मयंक जोशी को इसी सीट से टिकट दिया जाए। उन्होंने बीजेपी के शीर्ष नेताओं से भी मुलाकात की और कहा कि उनका बेटा 12 साल से सामाजिक कार्यों में है। अगर चाहते हैं कि एक परिवार से दो सदस्य चुनाव नहीं लड़ सकते तो वो 2024 से चुनाव नहीं लड़ेंगी। उन्होंने इस्तीफा देने की भी पेशकेश की। बावजूद इसके उनका प्रयास सफल साबित नहीं हुआ।
UP Election : रीता बहुगुणा चुनाव प्रचार से दूर
बीजेपी की ओर से लखनऊ कैंट पर बृजेश पाठक को टिकट दे दिया गया। इसके बाद से रीता बहुगुणा चुनाव प्रचार से दूर रहे। लंबे समय से कयास लगाए जा रहे थे कि मयंक जोशी भी किसी अन्य दल में शामिल हो सकते हैं। कल यानी मंगलवार को मयंक जोशी सपा प्रमुख अखिलेश यादव से मिलने पहुंचे। अखिलेश यादव ने करीब एक घंटे चली बातचीत के बाद कहा कि यह शिष्टाचार मुलाकात थी, लेकिन सियासत में हलचल तेज है।
बता दें कि लखनऊ कैंट विधानसभा सीट पर ब्राह्मण मतदाता ज्यादा संख्या में है। इनमें उत्तराखंड के लोग ज्यादा हैं। ऐसे में कयास लगाए जा रहे हैं कि मयंक जोशी के जाने से वोट बैंक भी खिसक सकता है। दरअसल, रीता बहुगुणा लखनऊ कैंट से दो बार विधायक रह चुकी हैं।
UP Election : प्रयागराज से लोकसभा चुनाव
2012 में कांग्रेस टिकट से इस सीट पर विधायक बनी और 2017 से बीजेपी से प्रत्याशी बनकर जीतीं। 2019 में प्रयागराज से लोकसभा चुनाव लड़ी और सांसद बन गईं, जिसके बाद विधायक पद से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद उपचुनाव हुआ तो बीजेपी से सुरेश तिवारी विधायक बने। अब मयंक जोशी के सपा के घेमे में दिखाई देना सियासत अटकलों को भी तेज कर रहा है।
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