शंखनाद INDIA/ देहरादून
23 अगस्त से प्रारंभ होने वाले विधानसभा सत्र से पूर्व विधानसभा के कार्मिकों को विधिवत योगाभ्यास, प्राणायाम कराया गया ताकि कार्मिकों के अंदर किसी भी प्रकार का तनाव ना रहे और सत्र सुचारू रूप से संचालित किया जा सके । प्रत्येक माह की 21 तारीख को कार्मिकों की कार्य वृद्धि के लिए विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचंद अग्रवाल की प्रेरणा से योगाभ्यास कार्यक्रम आयोजित किया जाता है ।
मंत्रोच्चारण के साथ प्रारंभ हुए योगाभ्यास के दौरान सुप्रसिद्ध योगाचार्य डॉ शिल्पा ने कहा है कि योग जीवन जीने का मार्गदर्शन है । जीवन शैली कैसी होनी चाहिए आपका आचार, विचार, व्यवहार कैसे होना चाहिए यह सब बातें योग के माध्यम से सीखी जा सकती है।
डॉ शिल्पा ने कहा कि सकारात्मक दृष्टिकोण योग सिखाता है नकारात्मक परिस्थिति से बाहर कैसे निकलना है यह सब योग के क्रियाओं से ही संभव है । उन्होंने कहा कि योग करने से मनुष्य के जीवन शैली मे बदलाव होता है लोगों के प्रति व्यक्ति का नजरिया व व्यवहार स्वत: ही सकारात्मक होने लगता और कार्यकुशलता में भी गति आती है।योग से ही सकारात्मक दृष्टि मन मस्तिष्क में उत्पन्न हो जाती है । योग एक कला है एक दर्शन है जीवन जीने की पद्धति है ।उनका मानना है कि सरकार को सारे स्कूल, कॉलेजों में भी नियमित योग की कक्षाएं प्रारंभ करनी चाहिए । इस अवसर पर विधानसभा के कार्मिकों ने डॉ शिल्पा का शॉल ओढ़ाकर एवं गंगा जली भेंट कर सम्मान किया ।