गंगा भोगपुर स्थित रिसार्ट में रिसेप्शनिस्ट अंकिता भंडारी की हत्या के बाद मुख्य हत्यारोपित  पुलकित आर्य का वनन्तरा रिसार्ट प्रशासन के निशाने पर आ गया है। प्रशासन ने इस रिसार्ट की जांच कर रहा है। जांच में यह बात सामने आई कि यह रिसार्ट पूरी तरह से नियम, कायदे और कानून को ताक पर रखकर बनाया गया। फिलहाल, प्रशासन ने इसको सील कर दिया है। आइए जानते हैं इसके बारे में। गंगा भोगपुर तल्ला में ग्रामीणों को गुमराह कर उनकी भूमि को औने-पौने दामों पर खरीदने का खेल हत्यारोपित पुलकित आर्य के रसूखदार परिवार ने ही शुरू किया था। करीब 12 वर्ष पहले पुलकित आर्य के पिता पूर्व दायित्वधारी और भाजपा नेता डा. विनोद आर्य ने यहां करीब दो बीघा भूमि ग्रामीणों से खरीदी थी। भूमि खरीदने के बाद डा. विनोद आर्य ने यहां आंवला कैंडी बनाने का एक प्लांट लगाया था। जब यह प्लांट शुरू हुआ तो इससे निकलने वाला गंदा पानी स्थानीय लोगों के लिए परेशानी का सबब बन गया।

बीजेपी नेता के वनंत्रा रिजॉर्ट पर अब जांच का शिकंजा

 

   अंकिता हत्याकांड से सवालों के निशाने पर आए वनंत्रा रिजॉर्ट की वैधता की जांच को लेकर पौड़ी के जिलाधिकारी डॉ. विजय कुमार जोगदंडे ने एडीएम की अध्यक्षता में कमेटी गठित की है। कमेटी को 15 दिन में जांच पूरी कर रिपोर्ट देनी है। हत्याकांड के बाद रिजॉर्ट की वैधता को लेकर सवाल उठ रहे हैं। कहा जा रहा है कि रिजॉर्ट सरकारी भूमि पर कब्जा कर बनाया गया है। राजाजी नेशनल पार्क के पास होने की वजह से वन भूमि पर अतिक्रमण की संभावनाएं भी जताई जा रही हैं। इसके साथ ही रिजॉर्ट के लिए दी जा रही अनुमति को लेकर भी तमाम तरह के सवाल हैं। इन तमाम शिकायतों, आरोपों और सवालों के बीच पौड़ी के जिलाधिकारी ने एडीएम की अध्यक्षता में कमेटी बना दी है, जिसमें राजस्व और वन विभाग के अधिकारियों को भी रखा गया है। कमेटी को मौके पर जाकर रिजॉर्ट की जांच करने के निर्देश दिए हैं।
इन सवालों के जवाब तलाशेगी जांच कमेटी
– क्या रिजॉर्ट के लिए राजस्व व वन भूमि पर अतिक्रमण तो नहीं हुआ।
– रिजॉर्ट संचालित करने के लिए क्या जरूरी स्वीकृतियां ली गईं।
– रिजॉर्ट चलाने के लिए जरूरी मानकों का पालन किया गया या नहीं।
– रिजॉर्ट में कार्यरत कर्मचारियों का पूरा विवरण, वे कब से तैनात हैं।
– रिजॉर्ट में एहतियात और सुरक्षा के लिए जरूरी उपाय किए गए थे या नहीं।
– बिजली पानी और अन्य जरूरी सुविधाओं के लिए अनुमतियां ली गईं या नहीं।
इन सवालों के जवाब तलाशेगी जांच कमेटी
– क्या रिजॉर्ट के लिए राजस्व व वन भूमि पर अतिक्रमण तो नहीं हुआ।
– रिजॉर्ट संचालित करने के लिए क्या जरूरी स्वीकृतियां ली गईं।
– रिजॉर्ट चलाने के लिए जरूरी मानकों का पालन किया गया या नहीं।
– रिजॉर्ट में कार्यरत कर्मचारियों का पूरा विवरण, वे कब से तैनात हैं।
– रिजॉर्ट में एहतियात और सुरक्षा के लिए जरूरी उपाय किए गए थे या नहीं।
– बिजली पानी और अन्य जरूरी सुविधाओं के लिए अनुमतियां ली गईं या नहीं।

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